भेड़ पालकों को अनुदानित मेढ़े के प्रावधान की योजना

परिचय

भेड़ पालन हिमाचल प्रदेश में मुख्य व्यवसायों में से एक है। हिमाचल प्रदेश की रामपुर बुशैहरी और गद्दी नस्लें देश में स्वदेशी कालीन ऊन उत्पादन के लिए प्रसिद्ध हैं। राज्य में भेड़ों की कुल आबादी 8.05 लाख है। नियमों के अनुसार प्रति 20-25 भेड़ों में एक प्रजनन मेढ़े की आवश्यकता होती है। लगभग नस्ल सक्षम जनसंख्या को ध्यान में रखते हुए। प्रदेश में 3.00 लाख भेड़ों के लिए कम से कम 12,000 मेढ़ों की आवश्यकता है, जबकि विभाग अपने फार्मों से केवल 250-300 मेढ़े ही उपलब्ध करवा पा रहा है। अत: राज्य व् पड़ोसी राज्यों के भेड़ फार्म/ प्रगतिशील प्रजनकों से खरीद कर चरणबद्ध तरीके से रैम्बूले और रशियन मेरिनो नस्ल व् उनके क्रॉस के उच्च आनुवंशिक योग्यता प्रजनन वाले मेढ़े, भेड़ प्रजनकों को 60% सब्सिडी पर प्रदान किया जा रहा है।

योजना का उद्देश्य

देशी भेड़ की नस्लों का आनुवांशिक सुधार और हिमाचल प्रदेश में भेड़ के प्रवासी झुंडों के बीच उच्च जर्मप्लाज्म का प्रसार।

राज्य में उत्पादित होने वाले मांस और ऊन की गुणवत्ता और मात्रा में सुधार करना, जिससे भेड़ प्रजनकों को बेहतर आर्थिक लाभ सुनिश्चित हो सके।

जनजातीय भेड़ प्रजनकों की प्रवासी भेड़ों के बीच अंतप्रजनन की समस्या को हल करने के लिए।

कार्यान्वयन संस्था

पशुपालन विभाग, हिमाचल प्रदेश ।

पात्र लाभार्थी

हिमाचल प्रदेश की सभी श्रेणियों से संबंधित भेड़ प्रजनक।

कार्यान्वयन का क्षेत्र

संपूर्ण राज्य।

पात्रता मापदंड

  • हिमाचल प्रदेश की सभी श्रेणियों से संबंधित एक भेड़ प्रजनक जिसके पास कम से कम 25 भेड़ों के झुंड हो को एक मेढ़ा उपलब्ध कराने पर विचार किया जाएगा।
  • प्रति 25 भेड़ पर एक मेढ़ा आवंटित किया जाएगा। एक लाभार्थी को अधिकतम दो मेढ़े आवंटित किये जायेंगे।
  • लाभार्थी को एक समझौते पर हस्ताक्षर करना होगा कि वह मेढ़ा के प्रजनन जीवन के दौरान आवंटित मेढ़े को नहीं बेचेगा और न ही बधिया करेगा।

अनुदान

मेढ़ा 60% अनुदान पर उपलब्ध कराया जाएगा।

कार्यान्वयन रणनीति

  • इस योजना के तहत राज्य व् पड़ोसी राज्यों के विभागीय फार्मों और प्रगतिशील प्रजनकों से रूसी और मेरिनो नस्लों के उच्च आनुवंशिक योग्यता (एचजीएम) और उनके क्रॉस वाले मेढ़े खरीदे जाएंगे।
  • जिलावार लक्ष्यों को उप निदेशकों को आवंटित किया जाएगा, तदौपरांत उप निदेशक वरिष्ठ पशु चिकित्सा अधिकारी को अस्थायी लक्ष्य आवंटित करेंगे।
  • पात्र भेड़ प्रजनकों से मांग पशु चिकित्सा अधिकारियों के माध्यम से एकत्र की जाएगी, जो आवेदक के संबंध में पात्रता मानदंड और आवेदक द्वारा पाले जा रहे भेड़ की संख्या को प्रमाणित करेंगे।
  • सत्यापन के बाद संबंधित पशु चिकित्सा अधिकारी अपने क्षेत्र के वरिष्ठ पशु चिकित्सा अधिकारी को सभी आवेदन जमा करेगा, जो आवेदनों को संबंधित उप निदेशक नियंत्रण अधिकारी को सिफारिश के साथ भेजेंगे।
  • उप निदेशक (प०स्व०/प्र०) / नियंत्रक अधिकारी मेढ़ों की खरीद के लिए एक समिति का गठन करेंगे और चयनित लाभार्थियों को मेढ़ों की आपूर्ति घरद्वार पर देना सुनिश्चित करेंगे और लाभार्थियों की संकलित सूची आबंटित राशि के उपयोगिता प्रमाण पत्र के साथ प्रगति सूचना निदेशालय को प्रेषित करेंगे।
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